यूरोप में ऐसा क़दम उठाने वाला पहला देश बनने की तैयारी
आयरलैंड ने एक ऐतिहासिक और साहसी क़दम उठाने की तैयारी कर ली है। यह यूरोप का पहला देश बनने जा रहा है जो कब्ज़े वाले फ़लस्तीनी इलाकों में स्थित इस्राइली कंपनियों के साथ व्यापार पर पूर्ण पाबंदी लगाने वाला है। इस प्रस्तावित क़ानून के ज़रिए आयरलैंड यह स्पष्ट संकेत देना चाहता है कि वह फ़लस्तीनी जनता के अधिकारों और अंतरराष्ट्रीय क़ानूनों का सम्मान करता है।
यह क़दम ऐसे समय पर उठाया जा रहा है जब ग़ज़ा और वेस्ट बैंक में इस्राइली कार्रवाईयों को लेकर वैश्विक स्तर पर आलोचना हो रही है। आयरलैंड का यह रुख मानवाधिकारों और न्याय की दिशा में एक मजबूत संदेश देता है। यदि यह क़ानून पास होता है तो यूरोप के अन्य देशों पर भी दबाव बनेगा कि वे इस तरह के नैतिक और अंतरराष्ट्रीय नियमों पर आधारित फैसले लें।
विशेषज्ञों का मानना है कि यह फैसला न सिर्फ़ इस्राइल-फ़लस्तीन मुद्दे पर वैश्विक विमर्श को प्रभावित करेगा, बल्कि अंतरराष्ट्रीय व्यापार और राजनीतिक रिश्तों में भी एक नई बहस को जन्म देगा।